पुलवामा हमले के बाद राज्य सरकार और पुलिस प्रशासन ने इस बार यात्रा को पूरी तरह सुरक्षित और व्यवस्थित बनाने के लिए कमर कस ली है। उत्तराखंड की पवित्र चारधाम यात्रा इस साल सुरक्षा के घेरे में शुरू हो गई है। इसमें सबसे खास बात यह है कि पहली बार चारधाम यात्रा मार्ग पर सुरक्षा की दृष्टि से आतंकवाद रोधी दस्ता और बम निरोधक दस्ता तैनात किया गया है।
सुरक्षा की दृष्टि से जिलेवार सीसीटीवी कैमरों की तैनाती की गई है। प्रदेश की राजधानी देहरादून में 107, धर्मनगरी हरिद्वार में 85, टिहरी में 102, पौड़ी में 44, रुद्रप्रयाग में 115, चमोली में 79, उत्तरकाशी (गंगोत्री) में 20 और यमुनोत्री क्षेत्र में 15 कैमरे लगाए गए हैं। इसके अलावा प्रदेशभर से 10 एडिशनल एसपी, 28 सीओ, 64 इंस्पेक्टर, 387 सब इंस्पेक्टर, 624 हेड कांस्टेबल, 791 कांस्टेबल, पीएसी की 31 सब टीमें, 1452 होमगार्ड यात्रा मार्गों पर तैनात किए गए हैं। इसके साथ ही 30 फायर ब्रिगेड यूनिट्स को भी तैयार किया गया हैं। यात्रा के संवेदनशील स्थलों पर 6 कंपनी पैरा मिलिट्री फोर्स भी लगाई गई है।
यात्रा व्यवस्था को सुचारू रखने में पीआरडी (प्रांतीय रक्षक दल) के जवानों को भी बड़ी जिम्मेदारी दी गई है। युवा कल्याण विभाग ने जानकारी दी कि 270 जवानों की मांग पुलिस ने की थी और अब इन्हें अलग-अलग रूटों पर तैनात किया जा रहा है। सुरक्षा और सहयोग दोनों में पीआरडी की भूमिका अहम होगी। युवा कल्याण एवं प्रांतीय रक्षक दल विभाग के डीओ प्रमोद पांडे ने बताया कि पुलिस की ओर से 270 जवानों की मांग की गई थी।
सुरक्षा इंतजाम इस बार रिकॉर्ड स्तर पर किए गए हैं। खास बात ये है कि पहली बार चारधाम यात्रा मार्ग पर आतंकवाद रोधी दस्ता और बम निरोधक दस्ता तैनात किया गया है। इसके अलावा 5 हज़ार से ज्यादा पुलिसकर्मी, 624 सीसीटीवी कैमरे और कई जगहों पर ड्रोन की मदद से यात्रा पर नजर रखी जा रही है। ड्रोन के जरिए भीड़ की निगरानी और आपातकालीन स्थितियों में तुरंत प्रतिक्रिया संभव हो सकेगी।
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