रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से देहरादून में भारतीय सैन्य अकादमी के निकट दो अंडरपास का शिलान्यास किया। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत और आईएमए के कमांडेंट लेफ्टिनेंट जनरल जेएस नेगी ने भूमि पूजन का कार्य किया। दिल्ली से चीफ ऑफ डिफेंस स्टॉफ जनरल बिपिन रावत, सेना प्रमुख जनरल एमएम नरावणे भी कार्यक्रम में जुड़े थे।
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से देहरादून में भारतीय सैन्य अकादमी के निकट दो अंडरपास का शिलान्यास किया। इस बहुप्रतीक्षित अंडरपास की मांग दशकों से चली आ रही थी। इस अंडरपास के बनने से एनएच-72 पर लगने वाले ट्रैफिक जाम से मुक्ति मिलेगी। वहीं कैडेट्स के आवागमन और ड्रिल में भी व्यवधान नहीं होगा।
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने देहरादून में आईएमए में भूमि पूजन का कार्य किया। वहीं रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के साथ दिल्ली से चीफ ऑफ डिफेंस स्टॉफ जनरल बिपिन रावत, सेना प्रमुख जनरल एमएम नरावणे जुड़े थे। देहरादून में सीएम रावत के अलावा आईएमए के कमांडेंट लेफ्टिनेंट जनरल जेएस नेगी, उत्तराखंड के मुख्य सचिव ओम प्रकाश, डीजीपी अनिल रतूड़ी मौजूद थे। इसके अलावा आईएमए के डेप्युटी कमांडेंट एवं चीफ इंस्ट्रक्टर मेजर जनरल जगजीत सिंह मंगत, उत्तराखंड सब एरियार के जीओसी मेजर जनरल आरएस ठाकुर भी इस कार्यक्रम में शामिल हुए।
इस अवसर पर राजनाथ सिंह ने कहा, भारतीय सैन्य अकादमी के निकट अंडरपास की मांग दशकों से चली आ रही थी लेकिन अब जाकर इस पर कार्य शुरू हुआ है। क्रमश: 354.45 मीटर तथा 407.34 मीटर इन दो लंबे अंडरपास के बनने से एनएच-72 पर लगने वाले ट्रैफिक जाम से मुक्ति मिलेगी। उन्होंने कहा कि आईएमए जैसे विश्वसनीय, विश्वस्तरीय संस्थान को दो अंडरपास के लिए इतना लंबा इंतजार किया जाना बड़ी विडम्बना है। अंडरपास निर्मित होने के बाद आईएमए के कैंपस आपस में जुड़ सकेंगे तथा संस्थान को अपनी गतिविधियों के संचालन में सुविधा होगी।
राजनाथ ने कहा कि पिछले वर्ष दिसंबर में आईएमए पासिंग आउट परेड में उनके द्वारा इसकी स्वीकृति प्रदान की गई थी। यदि दो साल के बजाय पौने दो साल में ये अंडरपास बनकर तैयार हो जाएंगे तो वे इनके उद्घाटन के लिए भी आएंगे तथा इसमें कार्य करने वालों को सम्मानित भी करेंगे। रक्षामंत्री ने कहा कि यदि नियत ठीक हो संकल्प पक्का हो तो किसी भी कार्य को पूर्ण करने में कठिनाई पैदा नही होती है। उन्होंने कहा कि देरहादून में ट्रैफिक बढ़ रहा है, इस दृष्टि से भी इन अंडरपासों की नितांत जरूरत महसूस की जा रही थी।
यह प्रोजेक्ट 1978 से लंबित था। इससे चकराता रोड एनएच-72 पर ट्रैफिक जाम से निजात मिलेगी। साथ ही आईएमए की सुरक्षा और पुख्ता होगी। इस अंडरपास का निर्माण एनएचएआई के तहत पीडब्ल्यूडी द्वारा किया जाएगा। यह लगभग दो साल में बनकर पूरा होगा। इस पर 45 करोड़ रुपये की लागत आने का अनुमान है। पूरा होने के बाद यह अंडरपास आईएमए के नॉर्थ, सेंट्रल और साउथ कैंपस को आपस में जोड़ेगा।
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने सोशल मीडिया पर जारी एक बयान में कहा, आज रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से देहरादून में भारतीय सैन्य अकादमी के निकट दो अंडरपास का शिलान्यास किया। मुझे भी इस शुभ अवसर पर IMA में उपस्थित रहने का सौभाग्य मिला। भारतीय सैन्य अकादमी के निकट अंडरपास की मांग दशकों से चली आ रही थी लेकिन अब जाकर इस पर कार्य शुरू हुआ है। अंडरपास के बनने से एनएच-72 पर लगने वाले ट्रैफिक जाम से मुक्ति मिलेगी।
इन अंडरपास के निर्माण से न केवल उत्तराखण्ड की जनता को, बल्कि, पंजाब, हिमाचल प्रदेश और हरियाणा आने-जाने वाले यात्रियों को भी बड़ा लाभ होगा। साथ ही कैडेट्स के आवागमन और ड्रिल में भी व्यवधान नहीं होगा। ‘सैन्यधाम’ को इस सौगात देने के लिए रक्षा मंत्री का हार्दिक अभिनंदन।
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने आईएमए परिसर का भ्रमण कर आईएमए द्वारा संचालित विभिन्न गतिविधियों का स्थलीय निरीक्षण कर आवश्यक जानकारी प्राप्त की। उन्होंने आईएमए स्थित शहीद स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित कर शहीद वीर जवानों को श्रद्धांजलि भी अर्पित की। मुख्यमंत्री ने प्रशिक्षण रत युवा कैडेटों से भी मुलाकात कर उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की। इस दौरान सीएम रावत ने कहा कि आईएमए. की विशिष्ट पहचान रही है। उत्तराखंड को अपने इस विश्व स्तरीय संस्थान पर गर्व है। आईएमए के समादेशक लेफ्टिनेंट जनरल जयवीर सिंह नेगी ने इस अवसर पर अपने प्रस्तुतिकरण के माध्यम से आईएमए के ऐतिहासिक महत्व एवं उच्च सैन्य प्रशिक्षण की व्यवस्थाओं आदि की जानकारी मुख्यमंत्री को दी।
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