सीएम पुष्कर सिंह धामी ने देवस्थानम बोर्ड की बैठक में कहा, चारधाम स्थित मंदिरों में पुरानी परंपराएं चलती रहेंगी। राज्य सरकार का कार्य मंदिर की आंतरिक व्यवस्थाओं पर अधिकार करना नहीं बल्कि सहयोग करना है। हमारा उद्देश्य मंदिर परिसरों की सुविधाओं के विकास में सहयोगी बनना है।
धार्मिक मान्यताओं को देखते हुए बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री एवं यमुनोत्री मंदिरों के गर्भगृह से पूजा का सजीव प्रसारण नहीं किया जाएगा। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में शुक्रवार को सचिवालय में उत्तराखंड चारधाम देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड की तीसरी बैठक में यह फैसला लिया गया। बोर्ड के सभी सदस्य अपनी इस भावना की जानकारी नैनीताल हाईकोर्ट को भी देंगे। हाईकोर्ट ने हाल ही में यह निर्देश दिए थे कि गर्भग्रहों से पूजा का सजीव प्रसारण न किया जाए। इससे साथ ही सरकार देवस्थानम बोर्ड को लेकर तीर्थ पुरोहितों की शंकाओं का समाधान भी करेगी।
बैठक में केदारनाथ धाम में पूजा एवं यात्रा व्यवस्था के सफल संचालन के लिए मास्टर प्लान के अनुसार आधारभूत संरचनाओं का निर्माण कार्य संपादित करने की खातिर कंसलटेंट चयनित किए जाने पर भी सहमति दी गई।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सभी सदस्यों का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि चारधाम स्थित मंदिरों में पुरानी परंपराएं चलती रहेंगी। राज्य सरकार का कार्य मंदिर की आंतरिक व्यवस्थाओं पर अधिकार करना नहीं बल्कि सहयोग करना है। हमारा उद्देश्य मंदिर परिसरों की सुविधाओं के विकास में सहयोगी बनना है। उन्होंने सभी सदस्यों से इस संबंध में सभी को अवगत कराने की अपेक्षा की है। उन्होंने कहा कि इस संबंध में सभी लोगों से वार्ता भी की जाएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि यात्रा संचालित न होने की दशा में आवश्यकता पड़ने पर बोर्ड को अतिरिक्त वित्तीय सहायता दिए जाने पर भी विचार किया जाएगा, इसके लिए मुख्यमंत्री ने संशोधित प्रस्ताव प्रेषित करने को कहा है।
इस बैठक में आयुक्त गढ़वाल एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी उत्तराखंड चारधाम देवस्थानम बोर्ड रविनाथ रमन ने बोर्ड के कार्यकलापों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि वर्ष 2021-22 में बद्रीनाथ देवस्थानम के लिए 24.46 करोड़, केदारनाथ देवस्थानम के लिए 29.92 करोड़ तथा गंगोत्री एवं यमुनोत्री के लिए50-50 लाख का बजट प्रस्तावित है, जिसे बोर्ड द्वारा स्वीकृति प्रदान की गई है। इसके साथ ही जोशीमठ में श्री बद्रीनाथ वेद वेदांग स्नात्तकोतर संस्कृत महाविद्यालय जोशीमठ की अध्यासन वाली भूमि पर वेद अध्ययन केंद्र स्थापित किए जाने का भी निर्णय लिया गया।
बैठक में पर्यटन मंत्री तथा उपाध्यक्ष चारधाम देवस्थानम बोर्ड सतपाल महाराज, मुख्य सचिव डा. एस.एस. संधु, सचिव दिलीप जावलकर, अपर सचिव वित वी षणमुगम, बोर्ड के सदस्यों में महाराजा मनुजेंद्र शाह, श्रीनिवास पोस्ती, आशुतोष डिमरी, गोविंद सिंह पंवार, कृपाराम सेमवाल, जयप्रकाश उनियाल तथा महेंद्र शर्मा उपस्थित थे।
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