जम्मू-कश्मीर के कठुआ में हुए आतंकी हमले में उत्तराखंड के पांच जवान शहीद हो गये। इस खबर के बाद से देवभूमि उत्तराखंड में शोक की लहर है। सभी परिवारों के परिजन सदमे में हैं और बलिदानियों के घर-गांव में मातम पसरा हुआ है।
जम्मू कश्मीर के कठुआ में आतंकवादियों के हमले के कारण उत्तराखंड के पांच जवान शहीद हो गये हैं। इस हमले के कारण देवभूमि में शोक में डूब गया है। इस आतंकी हमले में कीर्तिनगर ब्लॉक के थाती डागर निवासी राइफलमैन आदर्श नेगी, रुद्रप्रयाग निवासी नायब सूबेदार आनंद सिंह रावत, लैंसडौन निवासी हवलदार कमल सिंह, टिहरी गढ़वाल निवासी नायक विनोद सिंह, रिखणीखाल निवासी राइफलमैन अनुज नेगी ने अपना बलिदान दिया है।
इस आतंकी हमले में टिहरी जिले के आदर्श नेगी ने 26 साल की उम्र में अपना सर्वोच्च बलिदान दिया है। जम्मू-कश्मीर के कठुआ में हुए आतंकी हमले में उत्तराखंड निवासी राइफलमैन आदर्श नेगी शहीद हो गए। आदर्श नेगी टिहरी जिले के कीर्तिनगर ब्लॉक के थाती डागर गांव के रहने वाले थे। उनके पिता दलबीर सिंह नेगी गांव में ही खेतीबाड़ी का काम करते हैं। आदर्श नेगी ने बारहवीं तक की पढ़ाई राजकीय इंटर कॉलेज पिपलीधार से हुई। 2018 में वह गढ़वाल राइफल्स में भर्ती हो गए। उस दौरान वह गढ़वाल विश्वविद्यालय से बीएससी द्वितीय वर्ष थे। आदर्श तीन भाई बहन में सबसे छोटे थे। उनकी बहन की शादी हो चुकी है, और भाई चेन्नई में नौकरी करता है। वह इसी साल फरवरी में अपने ताऊ के लड़के की शादी में घर आए थे। जब उनके परिवार को यह खबर दी गई तो उनके घर में मातम छा गया।
वीर सपूत नायब सूबेदार आनंद सिंह रावत रुद्रप्रयाग जनपद के ग्राम कांडा भरदार के रहने वाले थे। शदीद आनंद सिंह रावत 6 माह पूर्व अपने गांव छुट्टी पर आए थे और वर्तमान में जम्मू कश्मीर में तैनात थे। आनंद सिंह रावत का परिवार वर्तमान में देहरादून में रहता है। उनके बड़े भाई कुंदन सिंह और मां गांव में ही रहते है।
नई टिहरी के जाखणीधार ब्लाक के चौंड जसपूर के विनोद भंडारी (33) पुत्र वीर सिंह भंडारी जम्मू कश्मीर के कठुआ जिले में आतंकी हमले के दौरान शहीद हो गये। उनका परिवार भानियावाला में निवास करता है और वह डेढ़ माह पहले ही घर आये थे। उनकी माता का नाम शशि और पत्नी का नाम नीमा देवी हैं। विनोद भंडारी का चार साल का बेटा और तीन माह की पुत्री है।
गौरतलब रहे कि जम्मू कश्मीर में कठुआ जिले के माचेडी इलाके में सेना के एक ट्रक पर घात लगाकर किये गए आतंकवादियों के हमले में जूनियर कमीशन अधिकारी (जेसीओ) समेत पांच जवान शहीद हो गए और पांच अन्य घायल हुए हैं। अधिकारियों ने बताया कि आतंकवादियों ने सेना के वाहन को एक ग्रेनेड से निशाना बनाया और उस पर गोलीबारी की। उन्होंने बताया कि यह घटना अपराह्न करीब साढ़े तीन बजे हुई, जब कठुआ शहर से 150 किलोमीटर दूर लोहई मल्हार में बदनोता गांव के पास माचेडी-किंडली-मल्हार मार्ग पर सेना का वाहन नियमित गश्त पर था। कठुआ जिले में एक महीने के अंदर यह दूसरा बड़ा हमला है।
हमले में घायल जवान
1. हवलदार आनंद सिंह
2. हवलदार सुजान राम
3. सागर सिंह
4. गगनदीप सिंह
5. कार्तिक
इस हमले की जिम्मेदारी कश्मीर टाइगर्स नाम के आतंकी संगठन ने ली है। यह प्रतिबंधित पाकिस्तानी आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद की ही एक शाखा है। संगठन की ओर से सोशल मीडिया पर एक पोस्ट में लिखा गया कि यह हमला 26 जून को डोडा में मारे गए 3 आतंकियों की मौत का बदला है।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, सेना के सूत्रों के मुताबिक, यह हमला 3 आतंकियों ने किया था। वे आधुनिक हथियारों से लैस थे। आतंकी हाल ही में सीमा पार से घुसपैठ करके आए थे। हमले के लिए एक स्थानीय गाइड ने भी आतंकियों की मदद की थी। सुरक्षाबल कुठआ के लोहाई मल्हार ब्लॉक के माछेड़ी इलाके के बडनोटा में दोपहर 3.30 बजे तलाशी ले रहे थे, तभी आतंकियों ने उन पर घात लगाकर ग्रेनेड से हमला किया। साथ ही फायरिंग भी की। इसके बाद सेना ने पूरे इलाके को घेर लिया। ताबड़तोड़ छापेमारी की कार्रवाई की जा रही है। साथी की शहादत के बाद सेना किसी भी कीमत पर बचे आतंकियों को छोड़ना नहीं चाहती है।
रक्षा अधिकारियों ने बताया कि आतंकवादियों की गोलीबारी के बाद हमारे सैनिकों ने भी जवाबी कार्रवाई की। इस बीच जम्मू और कश्मीर में दो अलग-अलग मुठभेड़ों में छह आतंकवादियों के मारे जाने के बाद, आरआर के कमांडर ब्रिगेडियर पृथ्वीराज चौहान ने कहा कि दक्षिण कश्मीर में आतंकवादियों का मारा जाना हिजबुल-मुजाहिदीन के लिए एक बड़ा झटका है।
सीएम धामी ने जताया गहरा दुःख
जम्मू के कठुआ में हुए आतंकवादी हमले में उत्तराखण्ड के पांच जवानों के शहीद होने पर मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने गहरा दुख व्यक्त किया है। उन्होंने ईश्वर से शहीदों की आत्मा की शांति व शोकाकुल परिजनों को यह असीम कष्ट सहने की शक्ति प्रदान की कामना की है। उन्होंने कहा कि शहीदों के परिजनों को राज्य सरकार द्वारा हर संभव मदद दी जायेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे रणबाँकुरों ने उत्तराखण्ड की समृद्ध सैन्य परंपरा का पालन करते हुए माँ भारती के चरणों में अपना सर्वस्व न्योछावर किया है। माँ भारती की रक्षा करते हुए आतंकवाद के विरुद्ध शहीदों का यह सर्वोच्च बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा। इस कायरतापूर्ण हमले के दोषी, मानवता के दुश्मन आतंकवादी किसी भी क़ीमत पर बख्शे नहीं जाएँगे और इनको पनाह देने वाले लोगों को भी इसके परिणाम भुगतने होंगे। उन्होंने कहा कि सैन्यभूमि उत्तराखण्ड वीर सैनिकों को जन्म देने वाली भूमि है। यहां के जवानों ने सदैव माँ भारती की सेवा में अपने प्राणों की आहुति देकर अपने राष्ट्रधर्म का निर्वहन किया है।
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