कोस्ट गार्ड के पूर्व डीजी राजेंद्र सिंह को सरकार ने NDMA में दी अहम जिम्मेदारी

कोस्ट गार्ड के पूर्व डीजी राजेंद्र सिंह को सरकार ने NDMA में दी अहम जिम्मेदारी

हिल मेल ब्यूरो, नई दिल्ली/देहरादून मोदी सरकार ने भारतीय तटरक्षक बल के पूर्व महानिदेशक राजेंद्र सिंह को राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एनडीएमए) का सदस्य नियुक्त किया है। पदभार संभालने की तारीख से उनकी नियुक्ति अगले 5 साल के लिए होगी। हाल ही में उत्तराखंड सरकार

हिल मेल ब्यूरो, नई दिल्ली/देहरादून

मोदी सरकार ने भारतीय तटरक्षक बल के पूर्व महानिदेशक राजेंद्र सिंह को राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एनडीएमए) का सदस्य नियुक्त किया है। पदभार संभालने की तारीख से उनकी नियुक्ति अगले 5 साल के लिए होगी। हाल ही में उत्तराखंड सरकार ने राजेंद्र सिंह को आपदा प्रबंधन सलाहकार समिति का अध्यक्ष बनाया था। इस जिम्मेदारी के साथ उन्हें राज्य मंत्री का दर्जा भी दिया गया।

राज्य में खुलवाया तटरक्षक भर्ती केंद्र

आपको बता दें कि कोस्टगार्ड में DG के तौर पर अपने कार्यकाल में राजेंद्र सिंह के प्रयासों से ही उत्तराखंड में तटरक्षक भर्ती केंद्र का रास्ता साफ हुआ। उन्होंने सेवानिवृत्ति से पहले मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के साथ इसका शिलान्यास भी कर दिया। समुद्री सीमा की निगहबानी की कमान संभालने वाले उत्तराखंड के सपूत राजेंद्र सिंह रिटायर होने के बाद समाज सेवा में जुटे हुए हैं। उन्होंने अपने गृहराज्य में एक सामाजिक संस्था कुटुंब ग्राम समिति का गठन किया है, जो सुदूरवर्ती क्षेत्रों की महिलाओं को कुटीर उद्योग स्थापित करने और हुनर को निखारने में प्रशिक्षण दे रही है।

राजेंद्र सिंह तटरक्षक बल के शीर्ष पद को सुशोभित करने वाले बल के पहले अधिकारी रहे। इससे पहले तक नौसेना के थ्री स्टार अधिकारी को यह पद दिया जाता था। राजेंद्र सिंह के कार्यकाल में बल का बेड़ा लगातार बढ़ता और मजबूत होता गया। वह तटरक्षक बल में शामिल हर तरह के पोतों के कमांडर रहे।

राष्ट्रपति से मिल चुका है सम्मान

80 के दशक में राजेंद्र सिंह ने तस्कर विरोधी अभियान में सक्रिय भूमिका निभाई। उनके नाम तस्करी का सामान जब्त करने का कीर्तिमान है। इसके लिए 15 अगस्त 1990 को राष्ट्रपति ने उन्हें तटरक्षक पदक से सम्मानित किया। भारत सरकार ने 15 अगस्त 2007 को उन्हें राष्ट्रपति पदक से भी सम्मानित किया था।

देहरादून के रहने वाले राजेंद्र सिंह 1980 में तटरक्षक बल में शामिल हुए थे। उनकी प्राथमिक शिक्षा व उच्च शिक्षा मसूरी और देहरादून में हुई थी। 2013 में राज्य में आई भीषण आपदा के बाद उन इलाकों में गरीबी और बेरोजगारी दूर करने के लिए नौजवानों को तटरक्षक बल में रोजगार देने के लिए वहां भर्ती रैली का आयोजन किया था।

NDMA में इन विशेषज्ञों की भी नियुक्ति

राजेंद्र सिंह के अलावा NDMA के सदस्य कमल किशोर का कार्यकाल अगले 5 वर्ष के लिए बढ़ा दिया गया है। उनका नया कार्यकाल 16 फरवरी 2020 से प्रभावी हो गया है। इससे पहले कमल किशोर संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम में आपदा निवारण विशेषज्ञ के तौर पर काम कर रहे थे। इनके अलावा कृष्ण वत्स (पॉलिसी एडवाइजर, डिजास्टर रिकवरी, क्लाइमेट चेंज ऐंड डिजास्टर रिस्क रिडक्शन, UNDP) और रिटायर्ड लेफ्टिनेंट जनरल सैयद अता हसनैन को भी प्राधिकरण का सदस्य नियुक्त किया गया है।

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