चारधाम यात्रा के दौरान यहां आने वाले श्रद्धालुओं को स्वास्थ्य की सुविधा प्रदान करने के लिए स्वास्थ्य विभाग, हंस फाउंडेशन और विश फाउंडेशन ने साथ मिलकर ई-स्वास्थ्य एप की शुरूआत की है। स्वास्थ्य विभाग दोनों फाउंडेशन के साथ मिलकर जगह जगह पर श्रद्धालुओं की हेल्थ स्क्रीनिंग करेगा।
मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने जानकारी दी है कि चारधाम यात्रा पर आने वाले श्रद्धालुओं की बेहतरीन स्वास्थ्य सुविधाएं प्रदान करने हेतु स्वास्थ्य विभाग, विश फाउंडेशन तथा हंस फाउंडेशन ने ई-स्वास्थ्य धाम एप की शुरूआत की है। ई-स्वास्थ्य धाम एप पर सभी श्रद्धालुओं को अपना स्वास्थय डाटा अपलोड करना है। स्वास्थ्य विभाग द्वारा जगह-जगह पर श्रद्धालुओं की हेल्थ स्क्रीनिंग की जाएगी। इन स्क्रीनिंग पॉइन्ट्स पर स्वास्थ्य विभाग के चिकित्सकों के साथ ही हंस एवं विश फाउंडेशन के चिकित्सक भी मौजूद रहेंगे। विशेष रूप से 50 वर्ष से अधिक आयु के यात्रियों की हेल्थ स्क्रीनिंग अनिवार्य रूप से की जाएगी।
सचिवालय में स्वास्थ्य एवं पर्यटन विभाग की बैठक के दौरान मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने स्वास्थ्य एवं पर्यटन विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि चारधाम यात्रा पर आने वाले श्रद्धालुओं को अपनी मेडिकल हिस्ट्री की जानकारी रजिस्ट्रेशन के दौरान देने के लिए जागरूक करने के निर्देश दिए हैं। इसमें मीडिया की अत्यन्त महत्वपूर्ण भूमिका है। मुख्य सचिव ने कहा कि यदि श्रद्धालुओं द्वारा अपनी बिल्कुल सही मेडिकल हिस्ट्री रजिस्ट्रेशन के दौरान उपलब्ध करवाई जाती है तो इससे प्रशासन को किसी भी आपातकाल के दौरान श्रद्धालुओं को चिकित्सा सहायता पहुंचाने में आसानी होगी। यात्रियों की मेडिकल हिस्ट्री की उपलब्धता से प्रशासन को भी अपने चिकित्सा संसाधनों के बेहतरीन प्रबन्धन में आसानी होगी। उन्होंने कहा कि प्रशासन श्रद्धालुओं को सुरक्षित एवं सुगम चारधाम यात्रा करवाने के लिए प्रतिबद्ध है।
‘ई-स्वास्थ्य धाम’ एक समर्पित वेब ऐप है जिसे तीर्थयात्रियों की यात्रा के दौरान उनके स्वास्थ्य की स्थिति की निगरानी के लिए सावधानीपूर्वक डिज़ाइन किया गया है। पर्यटन साइट पर मौजूदा चारधाम पंजीकरण पोर्टल के साथ सहज रूप से एकीकृत, यह प्लेटफ़ॉर्म तीर्थयात्रियों को उनके आभा आईडी के माध्यम से आसानी से अपने मेडिकल रिकॉर्ड तक पहुंचने में सक्षम बनाता है, जिससे आवश्यक स्वास्थ्य जानकारी की आसान पुनर्प्राप्ति सुनिश्चित होती है।
यात्रा के दौरान तीर्थयात्रियों को विश और हंस फाउंडेशन द्वारा रणनीतिक रूप से प्रबंधित स्क्रीनिंग पॉइंट मिलेंगे। यहां, वे स्वास्थ्य स्क्रीनिंग से गुज़र सकते हैं, जिसके परिणाम वेब ऐप पर तुरंत अपडेट किए जाएंगे। तीर्थयात्री स्वयं इस महत्वपूर्ण जानकारी तक पहुंच सकते हैं, जिससे पारदर्शिता सुनिश्चित होती है और उन्हें अपने स्वास्थ्य के बारे में सूचित निर्णय लेने का अधिकार मिलता है। यह अभिनव स्वास्थ्य वेब ऐप तीर्थयात्रियों के स्वास्थ्य और कल्याण के लिए सरकार की अटूट प्रतिबद्धता को रेखांकित करता है। यह स्वास्थ्य जोखिमों को कम करने के लिए सतर्क निगरानी और हस्तक्षेप रणनीतियों को लागू करके तीर्थयात्रियों की भलाई की रक्षा करने के लिए हमारे समर्पण का उदाहरण है, जिससे यात्रा पर जाने वाले सभी तीर्थयात्रियों के लिए एक सहज यात्रा सुनिश्चित होती है।
महत्वपूर्ण स्वास्थ्य जानकारी तक निर्बाध पहुंच के लिए, वेब ऐप को लगातार अपडेट किया जाएगा, जिससे तकनीकी गड़बड़ियों का जोखिम कम से कम होगा। तीर्थयात्रियों को https://eswasthyadham.uk.gov.in पर जाकर नामांकन करने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है।
वेब ऐप के अलावा, हमारी पहल में सूचना, शिक्षा और संचार (आईईसी) एडवाइजरी का निर्माण शामिल है। इन एडवाइजरी का उद्देश्य तीर्थयात्रियों को संभावित स्वास्थ्य जोखिमों, निवारक उपायों और आवश्यक होने पर समय पर चिकित्सा सहायता लेने के महत्व के बारे में शिक्षित करना है। आईईसी एडवाइजरी के माध्यम से महत्वपूर्ण जानकारी का प्रसार करके, हम तीर्थयात्रियों को यात्रा के दौरान अपने स्वास्थ्य की सुरक्षा के लिए आवश्यक ज्ञान से सशक्त बनाना चाहते हैं।
इसके अलावा, उत्तराखंड स्वास्थ्य विभाग और विश (वाधवानी इनिशिएटिव फॉर सस्टेनेबल हेल्थकेयर) के बीच एक सहयोगी प्रयास में, चारधाम मार्ग पर तैनात सभी स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं को व्यापक प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा। यह प्रशिक्षण आपातकालीन देखभाल में उनके कौशल को बढ़ाने के लिए तैयार किया गया है, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि वे चारधाम यात्रा के दौरान उत्पन्न होने वाली किसी भी चिकित्सा स्थिति का प्रभावी ढंग से सामना करने के लिए तैयार रहें।
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