उत्तराखंड में कोरोना के मामले बढ़ने के साथ ही सरकार बाजारों को खोलने के साथ इकॉनमी को खोलने की दिशा में बढ़ रही है। हालांकि जिन इलाकों में केस ज्यादा हैं, उसे कंटेनमेंट जोन बनाया गया है। उधर, रेड, ग्रीन, ऑरेंज जोन बनाने वाली व्यवस्था खत्म कर दी गई है।
उत्तराखंड में कोरोना के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। प्रदेश में अब आंकड़ा 1411 तक जा पहुंचा है। साफ है कि प्रवासियों के उत्तराखंड आने के बाद से ही मामलों में तेजी आई। अब प्रदेश में जैसे-जैसे कोरोना का ग्राफ बढ़ रहा है, वैसे ही कंटेनमेंट जोन (containment zones in uttarakhand) की संख्या भी बढ़ रही है। कंटेनमेंट जोन यानी वह इलाका जहां कोरोना के ज्यादा मामले आए हैं और यहां किसी तरह की छूट नहीं है।
प्रदेश में अब कुल 55 कंटेनमेंट जोन
आपको बता दें कि अभी राज्य में 55 कंटेनमेंट जोन हैं, जिसमें देहरादून में 23, हरिद्वार में 21, पौड़ी में दो, टिहरी में आठ और ऊधमसिंह नगर में एक कंटेनमेंट जोन है। अगर मामलों के बढ़ने का समय देखें तो प्रदेश में पहला मामला 15 मार्च को ही आ गया था लेकिन मामले इक्का-दुक्का ही बढ़ रहे थे लेकिन पहले जमातियों और फिर छूट मिलने के बाद प्रवासी आने लगे तो कोरोना हर रोज रिकॉर्ड बनाने लगा।
इस समय सबसे ज्यादा 370 केस देहरादून और 324 नैनीताल में हैं। पहले पहाड़ी जिलों में कोरोना नहीं पहुंचा था लेकिन अब हालात यह हो गए हैं कि हर जिले में कोरोना वायरस के मामले सामने आए हैं और कंटेनमेंट जोन की संख्या भी लगातार बढ़ी है।
रेड, ग्रीन का सिस्टम भी खत्म
उधर, सरकार ने अनलॉक-1 में जिलों को राहत देना भी शुरू कर दिया। अब प्रदेश में जोनिंग की व्यवस्था समाप्त कर दी गई है। प्रदेश में कोई भी जिला रेड, ऑरेंज या ग्रीन जोन में नहीं रखा जाएगा। सरकार की तरफ से संक्रमण के हिसाब से कंटेनमेंट जोन बनाएगा, जहां गाइडलाइन के अनुसार प्रतिबंध लगाए जाएंगे। किसी निकाय यानी नगर निगम, पालिका, नगर पंचायत क्षेत्रों में मामलों की संख्या बढ़ने पर वहां किस तरह के प्रतिबंध लगाए जाने हैं, यह शासन तय करेगा। इसके अलावा अब प्रदेश के भीतर और बाहर आने-जाने के लिए पास व्यवस्था को भी समाप्त करने की तैयारी चल रही है।
नैनीताल जिला पहले रेड जोन में था, वहां अब यह व्यवस्था समाप्त हो गई है। कंटेनमेंट जोन (containment zones in uttarakhand) में पहले से जो प्रतिबंध लगाए गए हैं वे जारी रहेंगे। जिन क्षेत्रों में मामले बढ़ेंगे वहां शासन पूरी स्थिति का अध्ययन कर फैसला लेगा। अभी देहरादून के नगर निगम क्षेत्र में कुछ चीजों पर प्रतिबंध लगाया गया है।
देहरादून में बने कंटेनमेंट जोन
देहरादून में गुरु रोड पटेलनगर, बैराज कॉलोनी सिंचाई विभाग ऋषिकेश, ईडब्ल्यूएस ब्लॉक, एमडीडीए कॉलोनी, आईएसबीटी देहरादून, प्रेमबत्ता गली, संतोवाली घाटी देहरादून, डी-ब्लॉक, सिंचाई विभाग परियोजन खंड, नगर निगम ऋषिकेश, दंडीपुरा कॉलोनी, देहरादून, रेसकोर्स देहरादून, आदर्श नगर, लेन नंबर 9, जॉली ग्रांट, डोईवाला, गली नंबर 34, शिवाजी नगर, ऋषिकेश, बीस बीघा, ऋषिकेश, देहरादून
वॉर्ड-13, ग्राम लाइन जीवनगढ़, विकासनगर, वॉर्ड नंबर 19, हरबर्टपुर, विकासनगर, ग्राम फतेहपुर टांडा, डोईवाला, हरिपुरकला, बस्ती वॉर्ड नंबर 2, मोतीचूर लाइन, सर्कुलर रोड, डालनवाला, ओम सार्थक अपार्टमेंट, सेवाकला, देहरादून, ब्रह्मपुरी, पटेलनगर, कलिंगा कॉलोनी, आराघर, बसंत विहार, फेज-2, देहरादून, नवीन मंडी, निरंजनपुर, देहरादून, रेलवे रोड, ऋषिकेश, गढ़ी मयचक, देहरादून, हरश्रीनाथ गली, खुड़बुड़ा मोहल्ला कंटेनमेंट जोन में है।
जानें हरिद्वार में कहां-कहां कंटेनमेंट जोन
खताखेरी, भगवानपुर, सती मोहल्ला, वॉर्ड-3, नगर निगम रुड़की, मातवाला मोहल्ला, वार्ड-8, नगर पंचायत लंढौरा, वॉर्ड-12, मोहदपुर, मोहनपुर, नगर निगम रुड़की, मुंडाखेड़ा कलां, लक्सर, दरगापुर, लक्सर, आदर्श नगर, नगर निगम रुड़की, ग्राम डबकी, लक्सर, ग्राम दादूपुर, गोविंदपुर, हरिद्वार, हजरत बिलाल मोहल्ला, वॉर्ड-6, लंढौरा, मंगलौर, ग्रीन पार्क कॉलोनी, रुड़की, आंबेडकर कॉलोनी, वॉर्ड-9, लंढौरा, मंगलौर, वैष्णवी अपार्टमेंट, कनखल, जसविंदर एन्क्लेव, भागीरथी, वॉर्ड-1, हरिद्वार, अलावलपुर, लक्सर, ग्राम धनौरी, तहसील रुड़की
वॉर्ड-5, पीडब्ल्यूडी कॉलोनी, खंजरपुर रोड, तहसील रुड़की, मोहितपुर, तहसील भगवानपुर, शिवालिक नगर, हरिद्वार, सुल्तानपुर, आदमपुर, तहसील लक्सर, महिगरान, वॉर्ड-35, तहसील रुड़की हरिद्वार में कंटेनमेंट जोन में है।
पौड़ी जिले में पीपली गांव, पाबौ ब्लॉक और ग्राम सतपली पट्टी, चौबट्टाखाल में कंटेनमेंट जोन बने हैं।
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