यह पहला मौका था जब ग्रीष्मकालीन राजधानी बनने के बाद भराड़ीसैंण में आयोजित राज्य स्थापना दिवस समारोह में सीएम त्रिवेंद्र ने आईटीबीपी और पुलिस परेड का निरीक्षण कर सलामी ली। इस समारोह में सांस्कृतिक कार्यक्रम की धूम रही।
मार्च के महीने में जब बजट सत्र के दौरान मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने गैरसैंण स्थित भराड़ीसैंण को उत्तराखंड की ग्रीष्मकालीन राजधानी बनाने का ऐलान किया था, तब कई लोगों ने ये सवाल खड़े किए थे कि क्षेत्र के विकास के रोडमैप के बिना ये महज घोषणा बनकर रह जाएगी। इस ऐलान के समय मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह भावुक थे। उन्होंने कहा था कि गैरसैंण हमारी भावनाओं का प्रतीक है और उनकी सरकार यहां के विकास के लिए कोई कोर कसर नहीं छोड़ेगी।
नौ नवंबर को उत्तराखंड राज्य स्थापना दिवस समारोह के दौरान मुख्यमंत्री ने गैरसैंण के विकास के लिए घोषणाओं की झड़ी लगा दी। उन्होंने कहा कि गैरसैंण में अगले 10 वर्षों में योजनाबद्ध तरीके से ग्रीष्मकालीन राजधानी विकसित की जाएगी। इसके नियोजित विकास के लिए मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित होगी। ग्रीष्मकालीन राजधानी क्षेत्र के नियोजित विकास के लिए 25000 करोड़ के बजट का प्रबंध किया जाएगा। इतना ही नहीं पहाड़ के लोगों को राहत देने के लिए जिला विकास प्राधिकरण के नियमों में शिथिलता लाई जाएगी। इसके अलावा उन्होंने चमोली जिले के विकास के लिए एक दर्जन से अधिक घोषणाएं कीं।
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यह पहला मौका था जब ग्रीष्मकालीन राजधानी बनने के बाद भराड़ीसैंण में आयोजित राज्य स्थापना दिवस समारोह में सीएम त्रिवेंद्र ने आईटीबीपी और पुलिस परेड का निरीक्षण कर सलामी ली। इस समारोह में सांस्कृतिक कार्यक्रम की धूम रही। मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन के दौरान गैरसैंण के विकास के लिए एक के बाद एक कई महत्वपूर्ण घोषणाएं कीं।
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उन्होंने कहा कि ग्रीष्मकालीन राजधानी में भी राजधानी की तर्ज पर ही अवस्थापना सुविधाएं मुहैया की जायेंगी। इसके लिए एक मास्टर प्लान बनाया जाएगा। मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित एक उच्च स्तरीय कमेटी इस प्लान को तैयार करेगी। कमेटी में विभिन्न क्षेत्रों में विशेषज्ञ शामिल होंगे। ग्रीष्मकालीन राजधानी का स्वरूप अगले 10 वर्षों में सबके सामने होगा। इस अवधि में इसके विकास पर तकरीबन 25000 करोड़ का बजट खर्च किया जाएगा।
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मुख्यमंत्री ने कहा कि जिला विकास प्राधिकरणों की वजह से भवन निर्माण में आ रही दिक्कतों को देखते हुए सरकार ने एक कमेटी गठित की थी, जिसकी रिपोर्ट के आधार पर अब प्राधिकरण के नियमों में शिथिलता प्रदान की जाएगी। एक और महत्वपूर्ण घोषणा में मुख्यमंत्री ने कहा कि महिला स्वयं सहायता समूह के 5 लाख तक के उत्पाद सरकार खरीदेगी, जिससे उनके सामने उत्पादों के विपणन की समस्या नहीं आएगी। सर्वाधिक पलायन वाले 500 गांवों को चिन्हित कर वहां के स्वयं सहायता समूहों को सरकार मामूली ब्याज दर पर मुहैया करायेगी। उन्होंने शहरी क्षेत्रों के गरीब तबके के लोगों को मात्र 100 रुपये शुल्क में पानी का कनेक्शन देने की भी घोषणा की। अब तक इसके लिए 6000 रुपये प्रति कनेक्शन शुल्क लिया जाता था।
सीएम त्रिवेंद्र ने कहा कि भ्रष्टाचार पर अंकुश के लिए नया हेल्पलाइन नंबर जारी किया जाएगा। वहीं, सीमांत पर 11 पुलिस आउटपोस्ट बनेंगी। जिला विकास प्राधिकरणों में मानचित्र पास करने की प्रक्रिया का शिथिलता। सीएम ने कहा कि राज्य की निर्यात नीति बनाई जाएगी।
इससे पहले, राजधानी देहरादून समेत राज्यभर में विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए गए। मुख्यमंत्री ने सोमवार सुबह देहरादून में राज्य स्थापना दिवस पर शहीद स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित की। इसके पुलिस लाइन में राज्यपाल बेबी रानी मौर्य के साथ परेड में शिरकत की। राज्य स्थापना दिवस पर मुख्यमंत्री की ओर से की कई घोषणाएं की गई।
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