सिहरन सी उठी सीने में… टिहरी में तैनात SI सुभाष के शब्दों में फूटा चमोली आपदा का दर्द

सिहरन सी उठी सीने में… टिहरी में तैनात SI सुभाष के शब्दों में फूटा चमोली आपदा का दर्द

चमोली की बाढ़ में कुछ बह गए कुछ दब गए, कुछ सपने साकार होने रह गए, कुछ ख्वाहिशों को आकार देना रह गया, किसी का इंतजार जीवन का इंतजार बन गया, मगर एक बार फिर खाकी तूने सबका दिल जीत लिया…. ये पंक्तियां हैं उत्तराखंड पुलिस के जवान सुभाष भट्ट की। उन्होंने चमोली आपदा के दर्द को शब्दों में पिरोकर लोगों के सामने रखा है।

उत्तराखंड के चमोली जिले में 7 फरवरी को आई आपदा सैकड़ों परिवारों को असहनीय दर्द दे गई। 200 से ज्यादा लोग या तो मारे गए या लापता हो गए। जानमाल का भारी नुकसान हुआ है। इस दर्द को बयां करते हुए टिहरी गढ़वाल में तैनात उत्तराखंड पुलिस के एसआई सुभाष भट्ट ने कुछ लाइनें लिखी हैं।

उन्होंने चमोली में आई प्राकृतिक आपदा में खाकी के सेवाभाव को अपनी कविता ‘आपदा में खाकी’ के माध्यम से दर्शाया है। उनके शब्दों में आपदा का दर्द साफ झलकता है।

इस बीच चमोली पुलिस की ओर से जानकारी दी गई है कि अब तक कुल 70 शव और 29 मानव अंग अलग-अलग स्थानों से बरामद किए गए हैं। इनमें से 40 शवों और एक मानव अंग की शिनाख्त हो चुकी है। जिन शवों की शिनाख्त नहीं हो पाई है उन सभी शवों का डीएनए संरक्षित किया गया है।

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